रेलवे स्टाफ की पृष्ठभूमि की पुलिस जांच होगी अनिवार्यरेलवे स्टाफ की पृष्ठभूमि की पुलिस जांच होगी अनिवार्य

रेलवे ने सुरक्षा बढ़ाने के लिए एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है। अब सभी रेलवे कर्मचारियों की पृष्ठभूमि की पुलिस जांच अनिवार्य होगी। इस जांच का उद्देश्य आपराधिक रिकॉर्ड वाले या सुरक्षा के लिए खतरा बन सकने वाले व्यक्तियों को रेलवे में काम करने से रोकना है। रेलवे का मानना है कि इससे यात्रियों और कर्मचारियों दोनों की सुरक्षा सुनिश्चित होगी।
सुरक्षा की नई दिशा: रेलवे का भरोसे भरा कदम
भारतीय रेलवे ने देश की सुरक्षा को एक नई दिशा दी है। अब हर रेलवे कर्मचारी की पुलिस पृष्ठभूमि जांच अनिवार्य होगी। यह कदम सिर्फ एक प्रशासनिक प्रक्रिया नहीं, बल्कि भरोसे की नई नींव है — ताकि हर यात्री यह महसूस करे कि उसकी सुरक्षा उन हाथों में है जिन पर देश भरोसा कर सकता है।
हर दिन लाखों लोग रेल से सफर करते हैं — कोई नौकरी की तलाश में, कोई परिवार से मिलने, तो कोई अपने सपनों की मंज़िल तक पहुँचने के लिए। रेलवे इन सबको जोड़ता है, और यह जुड़ाव तभी सुरक्षित रह सकता है जब व्यवस्था के भीतर काम करने वाला हर व्यक्ति विश्वसनीय हो।
रेलवे ने हालिया घटनाओं के बाद यह महसूस किया कि सुरक्षा सिर्फ सीसीटीवी या गार्ड से नहीं, बल्कि ईमानदार और पारदर्शी कर्मियों से सुनिश्चित होती है। इसलिए अब हर ऑनबोर्ड स्टाफ की विस्तृत पुलिस जांच होगी और उसके विवरण को डिजिटल रूप से पोर्टल पर दर्ज किया जाएगा। इससे किसी संदिग्ध या आपराधिक पृष्ठभूमि वाले व्यक्ति को रेल प्रणाली में प्रवेश से रोका जा सकेगा।
यह नीति हर कर्मचारी को यह याद दिलाएगी कि उनकी जिम्मेदारी सिर्फ नौकरी तक सीमित नहीं है — वे देश के भरोसे के रखवाले हैं। एक सफाईकर्मी से लेकर ट्रेन परिचालक तक, सभी इस मिशन का हिस्सा हैं जहाँ “सुरक्षा सेवा” का पर्याय बन जाती है।
रेलवे का यह कदम एक गहरा संदेश देता है —
कि “सुरक्षा किसी दीवार से नहीं, बल्कि ईमानदारी की नींव से बनती है।”
यह बदलाव न केवल प्रशासनिक पारदर्शिता बढ़ाएगा, बल्कि समाज में यह भरोसा भी मजबूत करेगा कि सरकारी संस्थाएँ अब सुरक्षा को प्राथमिकता के रूप में देख रही हैं।
HighLights
- रेलवे स्टाफ की पुलिस जांच अनिवार्य
- सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए कदम
- आपराधिक रिकॉर्ड की होगी जांच
रेलवे बोर्ड ने सभी 18 जोनों के सामान्य प्रबंधकों को संबोधित एक पत्र में कहा, ‘हालिया घटना को देखते हुए यह और भी आवश्यक और तात्कालिक हो गया है कि सभी आनबोर्ड संविदा स्टाफ की व्यापक पुलिस जांच तुरंत पूरी की जाए
जब अगली बार कोई ट्रेन प्लेटफ़ॉर्म से रवाना होगी, तो हवा में थोड़ा और भरोसा होगा। क्योंकि अब यह सफर सिर्फ मंज़िल की ओर नहीं, बल्कि सुरक्षा और सच्चाई की दिशा में भी बढ़ेगा।और इसे सीएमएम (कोचिंग मेंटेनेंस मैनेजमेंट) पोर्टल पर अपडेट किया जाए।”



