
सब तक एक्सप्रेस।
लखनऊ। राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद ने कर्मचारियों की समस्याओं और उपेक्षा के विरोध में 20 जनवरी को विधानसभा घेराव करने का निर्णय लिया है। प्रांतीय अध्यक्ष जे. एन. तिवारी के नेतृत्व में प्रदेश के सभी विभागों के कर्मचारी, निकाय, परिषद, निगम कर्मी, आशा बहुएं और शिक्षा मित्र इस आंदोलन में शामिल होंगे।
परिषद ने कहा कि परिवहन निगम, जो प्रदेश का सबसे बड़ा सार्वजनिक उपक्रम है, बीते दो वर्षों में लगातार संकट से गुजर रहा है। आरोप है कि सरकार की अनदेखी और गलत नीतियों के कारण निगम को समाप्त करने की स्थिति बना दी गई है।
परिषद के अनुसार—
- 3000 बसें आयशर से 9 रुपये प्रति किलोमीटर की दर से ली गईं, लेकिन यात्रियों की संख्या कम होने से नुकसान हो रहा है।
- 1 से 1.5 करोड़ रुपये की कीमत की इलेक्ट्रिक बसें खरीदी गईं, पर चार्जिंग प्वाइंट नहीं होने के कारण खड़ी हैं।
- डग्गामार संचालन पर रोक नहीं होने से नियमित बस सेवाएं प्रभावित हैं।
- 90 वर्ष की लीज पर संपत्तियाँ दिए जाने का भी विरोध किया गया है।
नेताओं ने कहा कि यदि यही हाल रहा तो निगम को समाप्त करने की साजिश सफल हो जाएगी।
कर्मचारियों ने फैसला किया है कि अपनी पीड़ा और मांगों को मुख्यमंत्री तक पहुंचाने के लिए 20 जनवरी को विधानसभा का घेराव किया जाएगा।
सभा में चंद्रशेखर शुक्ला, नीरज चतुर्वेदी, आरिफ हुसैन और राम कुमार समेत कई कर्मचारी नेता उपस्थित रहे।



