उत्तर प्रदेशटॉप न्यूजबड़ी खबरराज्यराष्ट्रीयलखनऊसोनभद्र

घोरावल: श्रीमद्भागवत ज्ञान महायज्ञ के दूसरे दिन श्रीब्रजरसदास जी महाराज की दिव्य वाणी से मंत्रमुग्ध हुए श्रद्धालु

घोरावल | वरिष्ठ संवाददाता – राम अनुज धर द्विवेदी, सब तक एक्सप्रेस।

घोरावल नगर के शिव मंदिर धर्मशाला परिसर में आयोजित 9 दिवसीय श्रीमद्भागवत ज्ञान महायज्ञ के दूसरे दिन गुरुवार शाम कथावाचक श्रीब्रजरसदास जी महाराज ने अपनी मधुर वाणी और दिव्य व्याख्यान से श्रद्धालुओं को आध्यात्मिक ऊर्जा से सराबोर कर दिया।

कार्यक्रम की शुरुआत यजमानों और भक्तों द्वारा व्यास पीठ की पूजा-अर्चना और आरती से हुई। इसके पश्चात वृंदावन से पधारे मुख्य कथावाचक महाराज श्रीब्रजरसदास जी ने भागवत कथा के महत्व, उद्देश्य और कलियुग में इसकी अनिवार्यता पर विस्तृत प्रकाश डाला।

कथा के मुख्य संदेश

महाराजजी ने कहा कि—

  • “श्रीमद्भागवत कथा के श्रवण के फल को तौला नहीं जा सकता। कलियुग में यह महान ग्रंथ मुक्ति का द्वार है।”
  • उन्होंने बताया कि भगवान का नाम जब अंतःकरण में प्रवेश करता है तो वह तन-मन की अशुद्धियों को झाड़ू की तरह साफ कर देता है।
  • “भगवान को केवल समर्पण भाव प्रिय है, दिखावा नहीं। अधर्म से कमाया धन प्रभु स्वीकार नहीं करते।”
  • श्रीकृष्ण की लीलाओं को मानव जीवन का दिव्य मार्गदर्शन बताते हुए कहा कि गीता ज्ञान विश्व को सदैव प्रकाशमान करता रहेगा।

उन्होंने श्रद्धालुओं को भागवत पाठ के महत्व से अवगत कराते हुए बताया कि:

  • प्रतिदिन श्रीमद्भागवत का पाठ कपिला गौ दान के समान फल देता है।
  • आधा या चौथाई श्लोक पढ़ने से हजार गायों के दान का फल मिलता है।
  • प्रतिदिन एक श्लोक का पाठ करने वाला 18 पुराणों के पाठ का फल प्राप्त करता है।

कार्यक्रम में रही विशेष उपस्थिति

कार्यक्रम में नगर पंचायत अध्यक्ष सूरज श्रीवास्तव, पूर्व अध्यक्ष राकेश कुमार, अशोक अग्रहरि, रमेश पांडेय, राजकुमार बाबा, दयाशंकर गुप्ता सहित कई श्रद्धालु व विशिष्टजन उपस्थित रहे।

श्रीमद्भागवत महापुराण की दिव्य कथा ने वातावरण को भक्ति, ज्ञान और वैराग्य से परिपूर्ण कर दिया। श्रद्धालु अगले दिनों के आयोजन का बेसब्री से इंतजार कर रहे।

 

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button
error: Content is protected !!