
रिपोर्ट: वॉइस ऑफ़ मीडिया, शिंभू सिंह | सब तक एक्सप्रेस, राजस्थान
जयपुर।
श्री शिव महापुराण कथा के आयोजन में भगवान शिव और माता पार्वती के विवाह प्रसंग की दिव्य व्याख्या ने हजारों श्रोताओं को भाव-विभोर कर दिया। श्रीमती आशा शर्मा जी के सौजन्य से हुए इस आयोजन में वक्ता श्री जी के मुखारविंद से निकली शिव-कथा की धारा ने समूचे पांडाल को श्रद्धा, भक्ति और अध्यात्म से सराबोर कर दिया।
📜 विवाह का दिव्य वर्णन
कथा में भगवान शिव की बारात, महादेव का स्वरूप, पार्वती माता का जन्म और उनके शुभ परिणय का विस्तार से वर्णन किया गया। वक्ता ने कहा कि महादेव स्वयं परदादा भी हैं, उनके गोत्र, कुल और वंश की जानकारी स्वयं ब्रह्मा जी द्वारा दी गई। विवाह में देवताओं, ऋषि-मुनियों, गंधर्वों, अप्सराओं और 64 करोड़ गणों की उपस्थिति का भव्य चित्रण किया गया।
🎶 गालियाँ, लोकगीत और भक्ति नृत्य
विवाह में भारतीय संस्कृति की गाली प्रथा, लोकगीतों, स्त्रियों की जय-जयकार, और महादेव द्वारा किए गए आनंद नृत्य का प्रसंग भी प्रस्तुत किया गया। यह बताया गया कि नटराज स्वरूप में भगवान शिव द्वारा किया गया नृत्य ही समस्त नृत्य परंपराओं की उत्पत्ति है।
🙏🏼 पार्वती जी का त्याग और श्रद्धा
कथा के दौरान माता पार्वती के भक्ति भाव, संयम और शिवभक्ति में लीन जीवन का अत्यंत मार्मिक चित्रण किया गया। श्रोताओं की आंखें उस क्षण नम हो गईं जब माता के विदाई प्रसंग में हिमालय और मेनका के भावनात्मक उद्गार वर्णित हुए — “हम पत्थर के नहीं हैं, बेटी की विदाई में पत्थर भी पिघलते हैं।”
🌸 अध्यात्म से सराबोर समापन
कार्यक्रम के अंत में भक्तों ने शिव महिमा का स्तुति पाठ, जयकार, और “हर हर महादेव” के उद्घोष के साथ कथा का समापन किया। सभी भक्तों को प्रसाद वितरण किया गया, जिसे आध्यात्मिक ऊर्जा से युक्त बताया गया।
श्रीमती आशा शर्मा जी ने आयोजन को सफल बनाने में सहभागी सभी श्रद्धालुओं का आभार जताया और कहा कि ऐसी कथाएं समाज को नैतिकता, आस्था और संस्कृति से जोड़ती हैं। उन्होंने यह भी कहा कि वे बच्चों को शिवप्रसाद और शिवज्ञान के साथ संस्कार देने की इच्छा रखती हैं।
सब तक एक्सप्रेस की ओर से इस भव्य शिव विवाह प्रसंग पर आधारित आयोजन के लिए आयोजकों और वक्ता मंडली को कोटिशः नमन।
रिपोर्टर: शिंभू सिंह, वॉइस ऑफ़ मीडिया | सब तक एक्सप्रेस, राजस्थान